प्रेम प्रकृति प्रदत्त दान है

आपने कभी सोचने की चेष्ठा की कि परमात्मा के दिये हुए इस अद्भुत व बहुमूल्य जीवन को आपने नरक कैसे बना लिया है?  क्यों बना लिया है?  इसका बुनियादी कारण क्या है? अगर मनुष्य को परमात्मा के निकट लाना है, तो आप परमात्मा की बात करना बंद कर दो।  केवल मनुष्य को प्रेम के निकट लाइये। आपने जीवन में प्रेम का भाव भरिये।  अगर आपके जीवन में प्रेम की तरंगों का आगमन हो जाता है, तो परमात्मा नाचता हुआ आपके आँगन में प्रकट हो सकता है।

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About अजय प्रताप सिंह

Light Worker

Posted on फ़रवरी 17, 2014, in प्रवचन. Bookmark the permalink. टिप्पणी करे.

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